Gurudwara Hemkund Sahib Tour in Hindi: सिखों का पवित्र गुरुद्वारा जो रामायण से जुड़ा हुआ है, जाने कैसे पहुंचेंगे यहाँ पर

Gurudwara Hemkund Sahib: गुरुद्वारा हेमकुंड साहिब हिमालय की हसीन वादियों में स्थित है। सिखों का यह पवित्र स्थल अपनी सुंदरता के कारण पूरे भारत भर में प्रसिद्ध है। यहां के नजारे देखकर आपका मन प्रसन्न हो जाएगा। हेमकुंड साहिब गुरुद्वारा सिखों के दसवें और अंतिम गुरु श्री गुरु गोविंद सिंह की याद में प्रसिद्ध है। जहां पर गुरु गोविंद सिंह जी ने अपना ध्यान साधना पुरी की थी। आज हम आपको उत्तराखंड में स्थित इस पवित्र सिख तीर्थ स्थल के बारे में बताने वाले हैं।

गुरुद्वारा हेमकुंड साहिब की यात्रा आप कैसे करेंगे यहां पर पहुंचने के लिए कौन-कौन से साधन आपके लिए उपलब्ध हैं। इसकी यात्रा में कितना खर्चा करना होता है साथ ही अन्य कौन-कौन सी गतिविधियां आप कर सकते हैं? इसके महत्वपूर्ण जानकारी आपको यहां पर दी जा रही है।

Gurudwara Hemkund Sahib

Gurudwara Hemkund Sahib – Overview

आपको बता दें कि उत्तराखंड के चमोली जिले में यह पवित्र तीर्थ स्थल स्थित है। हिमालय की गोद में ही है समुद्र तल से करीब 4329 मीटर ऊपर स्थित है। अपनी प्राकृतिक सुंदरता और धार्मिक महत्व के लिए यह विश्व भर में प्रसिद्ध है। यहां पर हर साल हजारों श्रद्धालु और पर्यटक आते रहते हैं। अगर आप भी यहां पर यात्रा करने का मन बना रहे हैं तो यह आर्टिकल आपकी पूरी मदद करने वाला है।

हेमकुंड साहिब आध्यात्मिक केंद्र है। गर्मियों के मौसम में यह शुरू हो जाता है। मई के महीने से खुलने के बाद यह अक्टूबर के महीने तक खुला रहता है। यहां पर सर्दियों में बहुत ज्यादा भारी बर्फबारी होती है। इस वजह से पूरा क्षेत्र बंद कर दिया जाता है। यहां पर आने के बाद आप बर्फीली पहाड़ियों और फूलों से सजी हुई खूबसूरत वादियां देखकर खुश हो जाएंगे।

गुरुद्वारा हेमकुंड साहिब पहुंचने का रास्ता

अगर आप गुरुद्वारा हेमकुंड साहिब की यात्रा करना चाहते हैं तो आप विभिन्न माध्यम से यहां पर पहुंच सकते हैं। आप चाहे तो बस कार ट्रेन फ्लाइट आदि के माध्यम से यहां की यात्रा कर सकते हैं।

Bus 

यहां पर सबसे नजदीकी बस स्टेशन गोविंद घाट है जो हेमकुंड साहिब से करीब 19 किलोमीटर पहले पड़ता है। गोविंद घाट पहुंचने के लिए सबसे पहले आपको ऋषिकेश पहुंचना होगा। जहां से आप करीब ₹200 का किराया देकर बस के माध्यम से गोविंद घाट पहुंच सकते हैं। अगर आप दिल्ली से यात्रा कर रहे हैं तो यहां से आप ऋषिकेश के लिए बस ले सकते हैं।

दिल्ली से निकलने के बाद ऋषिकेश, उसके बाद देवप्रयाग, उसके बाद श्रीनगर, उसके बाद रुद्रप्रयाग, उसके बाद जोशीमठ और अंत में आप गोविंद घाट पहुंचते हैं। पूरी यात्रा में करीब 12 घंटे का समय लग जाता है। हालांकि गोविंदगढ़ पहुंचने के बाद आपको गुरुद्वारा हेमकुंड साहिब तक की यात्रा पैदल या घोड़े पर करनी होगी।

Gurudwara Hemkund Sahib

Car

अगर आपके पास में खुद की कार है या फिर आप टैक्सी से आ रहे हैं तो NH7 से होते हुए आपको पहाड़ी रास्तों से गुजरना होगा और गोविंद घाट पहुंचना होगा। इस रास्ते से आपको ऋषिकेश से गोविंद घाट पहुंचने में करीब 275 किलोमीटर की यात्रा करनी होगी। पहाड़ी रास्ता होने की वजह से आपको 12 घंटे तक का समय लग सकता है। यहां पर आपका ईंधन का खर्चा ₹3000 से लेकर ₹5000 तक हो सकता है।

Train

हेमकुंड साहिब पहुंचने के लिए नजदीकी रेलवे स्टेशन ऋषिकेश ही है जो गोविंद घाट से 275 किलोमीटर दूर है। आप दिल्ली से आ रहे हैं तो शताब्दी एक्सप्रेस या जनशताब्दी एक्सप्रेस बस ले सकते हैं। आप चाहे तो ऋषिकेश पहुंचने के बाद एक टैक्सी बुकिंग करके भी गोविंद घाट पहुंच सकते हैं।

Flight

हेमकुंड साहिब के नजदीक में कोई हवाई अड्डा नहीं है। सबसे नजदीकी हवाई अड्डा देहरादून है जो करीब 290 किलोमीटर दूर पड़ता है। आप यहां पर दिल्ली से इंडिगो फ्लाइट पड़कर आ सकते हैं। एयरपोर्ट से लेकर गोविंद घाट तक का सफर तय करने में टैक्सी के माध्यम से आपको 10 घंटे से लेकर 12 घंटे तक का समय लगता है और यहां पर करीब 5500 तक का किराया आपको देना पड़ सकता है।

हेमकुंड साहिब में ठहरने की व्यवस्था

हेमकुंड साहिब यात्रा के दौरान आपको पहनने के लिए गोविंद घाट अथवा घांघरिया में रुकना होगा। हेमकुंड साहिब से करीब 6 किलोमीटर पहले घांघरिया है, जहां पर आपको होटल और गेस्ट हाउस ठहरने के लिए मिल जाते हैं। इसके अलावा यहाँ ठहरने के लिए बजट होटल आपको मात्र ₹800 से लेकर ₹2000 में मिल जाती है। वही होमस्टे के लिए ₹3000 तक प्रति व्यक्ति देना पड़ सकता है।

Gurudwara Hemkund Sahib

अगर आप यहां पर नहीं रुकना चाहते हैं तो आपको एक रात के लिए रुकने की व्यवस्था हेमकुंड साहिब गुरुद्वारे में भी की जाती है। साथ ही एकदम फ्री में यहां पर आपको लंगर से खाना मिल जाता है। अगर आपका बजट कम है तो आप हेमकुंड साहिब गुरुद्वारे में ही रख सकते हैं।

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हेमकुंड साहिब यात्रा में एक्टिविटीज

हेमकुंड साहिब गुरुद्वारा ही यहां पर सबसे प्रमुख और आकर्षक जगह है। इसके पास में ही एक लक्ष्मण मंदिर भी है जो रामायण से जुड़ा हुआ माना जाता है।

अगर आपको ट्रैकिंग करने का शौक है तो गोविंदघाट से गागरिया तक 13 किलोमीटर तक आप पैदल चल सकते हैं। यहां से एक रास्ता फूलों की घाटी की तरफ चला जाता है तो वहीं दूसरा रास्ता हेमकुंड साहिब की तरफ आता है। घांघरिया से करीब 6 किलोमीटर की ट्रैकिंग करने के बाद आप हेमकुंड साहिब गुरुद्वारा पहुंच जाएंगे। हालांकि आप पैदल नहीं चलना चाहते हैं तो आप घोड़े पर बैठकर भी यहां पहुंच सकते हैं।

Food and Dining

अगर आप हेमकुंड साहिब गुरुद्वारा की यात्रा कर रहे हैं तो आपको भोजन की चिंता करने की आवश्यकता नहीं है। यहां पर पहुंचने के बाद आपको लंगर में एकदम शाकाहारी भोजन मिल जाता है जिसमें दाल रोटी और कई प्रकार की सब्जियां शामिल होती है। यहां पर कुछ स्थानीय ढाबे भी है जहां पर आपको आलू, गट्टू, पानू और चाय जैसी फूड सामग्री मिल जाती है। किसी यात्रा के दौरान आपको हमेशा अपने बैग में पानी की बोतल और खाने के लिए कुछ स्नैक्स जरूर रखना चाहिए।

Gurudwara Hemkund Sahib

Budget and Expenses

हेमकुंड साहिब की यात्रा करने के लिए आपका मिनिमम बजट ₹2000 से लेकर ₹4000 तक होना चाहिए। इस बजट में आप गुरुद्वारे में ठहर सकते हैं और लंगर का खाना खा सकते हैं। साथ ही बस से यात्रा कर सकते हैं अगर आपका बजट थोड़ा लग्जरी है तो आपके करीब ₹15000 से लेकर ₹20000 तक का बजट रखना होगा। जिसमें लग्जरी होटल में तैरना और ट्रैकिंग की जगह पर घोड़े की सवारी करना शामिल है।

Travel Tips

हेमकुंड साहिब यात्रा पर विजिट करने का सबसे अच्छा समय मई के महीने से लेकर अक्टूबर के महीने का माना जाता है, क्योंकि यहां पर नवंबर से लेकर अप्रैल के मध्य में बहुत ज्यादा बर्फबारी होती रहती है। आपको इस बात का ध्यान रखना है की ऊंचाई पर जाते समय आपको गर्म कपड़े ट्रैकिंग के लिए जूते और साँस की समस्या है तो ऑक्सीजन सिलेंडर भी साथ ले जाए। मोबाइल का नेटवर्क कमजोर रहता है ऐसे में आप बीएसएनल का नेटवर्क अपने साथ रख सकते हैं साथ ही सभी इमरजेंसी कांटेक्ट नंबर अपने साथ रखें। यहां पर यात्रा करने के लिए आपको ऑनलाइन परमिट लेना जरूरी होता है।

Conclusion

आज हमने आपको इस आर्टिकल के माध्यम से Gurudwara Hemkund Sahib के बारे में जानकारी दी है। यहां की यात्रा से आपको एक मिश्रित अनुभव मिलता है। यहां पर जाने के साथ ही आप चाहे तो आसपास के कई जगह पर यात्रा कर सकते हैं। गोविंद घाट से पैदल चलकर जब आप हेमकुंड साहिब पहुंचे तो आपको थकान के साथ ही अद्भुत आनंद की अनुभूति होगी। अगर आप भी इसी यादगार यात्रा की प्लानिंग शुरू करना चाहते हैं तो अपने दोस्तों को भी इसको जरुर शेयर करें ताकि सभी मिलकर यात्रा की प्लानिंग कर सके।

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